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〰️हिन्दू धर्म में यह माना जाता है कि, भगवान शिव अपने भक्तों से बहुत जल्दी प्रसन्न हो जाते हैं, साथ ही जिस पर भी भगवान शिव की कृपा होती है, उसके जीवन में कष्टों और भय से मुक्ति मिलती है, वहीं शिव पुराण में भगवान शिव के सहस्त्रनाम के विशेष महत्व और उससे प्राप्त होने वाले लाभदायक फल के बारे में वर्णन किया गया है।
शिव सहस्त्रनाम जाप के फल:–
भगवान शिव के सहस्त्रनाम का जाप करने से जीवन के सभी कष्टों से मुक्ति मिलती है, भगवान शिव को स्वयंभू भी कहा जाता है, जिसका अर्थ है कि, वह मानव शरीर से पैदा नहीं हुए हैं, भगवान शिव का अस्तित्व आदि से अंत तक माना जाता है, मान्यता यह भी है कि, जब कोई नहीं था, तब भगवान शिव थे, इसलिए हर चीज नष्ट होने जाने बाद भी वह अस्तित्व में रहेंगे।

इसी कारण उन्हें आदिदेव कहा जाता है कि, भगवान शिव के सहस्त्रनाम का जाप सुबह उठकर जो भी व्यक्ति भक्ति भाव से करता है, उसको उसे सभी सिद्धियां प्राप्त होती है, यह महा स्रोत अत्यंत कल्याणकारी माना जाता है, भगवान शिव का यह जाप करने से सुख समृद्धि के साथ मानसिक शान्ति का अनुभव भी होता है, व्यक्ति जीवन मरण से दूर होकर मोक्ष को प्राप्त करता है, यहीं नहीं उस पर हमेशा भगवान शिव का आशीर्वाद बना रहता है।
भगवान शिव की विधिवत पूजा आराधना करने से सुख समृद्धि की प्राप्ति होती है, साथ ही भगवान शिव के सहस्त्रनाम से शिव पुराण में विशेष महत्व बताया गया है, भगवान शिव के सहस्त्रनाम का नियमित रूप से जाप करने से रोग भय और दोष से छुटकारा मिल जाता है।
शिव सहस्त्रनाम पढ़ने से क्या होता है ?
यह अनन्य भक्ति और ध्यान से भगवान शिव के प्रति अमिट प्रेम का प्रकटीकरण करता है, इस स्तोत्र के पाठ से भक्त शिव के दिव्य स्वरूप का आनंद उठाने में समर्थ हो जाते हैं, उनके प्रति श्रद्धा और भक्ति भी बढ़ती है।


शिव सहस्त्रनाम से अभिषेक कैसे करें ?
इसमें भी शिव मंत्र ॐ नम:शिवाय का उच्चारण करते रहना चाहिए।
- वंश की वृद्धि के लिए शिवलिंग पर शिव सहस्त्रनाम बोलकर घी की धारा अर्पित करें।
- शिव पर जलधारा से अभिषेक मन की शांति के लिए श्रेष्ठ मानी गई है।
- भौतिक सुखों को पाने के लिए इत्र की धारा से शिवलिंग का अभिषेक करें।
भगवान शिव को जल्दी कैसे प्रसन्न करें ?
प्रत्येक सोमवार शिव आराधना करने से शिव आपसे प्रसन्न होंगे, भगवान शिव का चंदन प्रिय होता है, स्नान के बाद उन्हें चंदन लगाएं और अक्षत, बिल्व पत्र, धतूरा, दूध और गंगाजल अर्पित करें। इस दिन भोलेनाथ का अभिषेक करना बहुत शुभ माना जाता है।
शिव जी से मन्नत कैसे मांगें ?
शिवलिंग की पूजा करने के बाद नंदी जी के सामने भी घी दीपक जरूर जलाएं। इसके बाद नंदी महाराज की आरती करें और किसी से बिना बातचीत किए नंदी के कानों में अपनी मनोकामना बोल सकते हैं। शास्त्रों के अनुसार, नंदी जी के कानों में अपनी कामना कहने से वह जल्द पूरी हो जाती है।
महादेव से वरदान कैसे मांगें ?
सोमवार के दिन अक्षत, चंदन, धतूरा, दूध, आक, गंगा जल, और बेल पत्र आदि भगवान शिव को अर्पित करना चाहिए,इससे भगवान शिव प्रसन्न होते हैं और शुभ आशीर्वाद देते हैं, – घर में सुख-शांति और खुशहाली बनाए रखने के लिए सोमवार के दिन भोलेनाथ को घी, शक्कर और गेंहू के आटे का बना भोग लगाएं और उनकी आरती करें।
मनचाहा वर पाने के लिए शिवलिंग पर क्या चढ़ाएं ?
शिव पुराण के अनुसार भोलेनाथ को प्रसन्न करने के लिए सबसे अच्छा दिन सोमवार का माना जाता है, इसलिए अगर आप अपने मनपसंद वर को पाना चाहते हैं, तो लड़कियां ब्रह्म मुहूर्त में भगवान शिव की मिट्टी का शिवलिंग बनाकर अभिषेक करें और साथ ही 108 बेलपत्र भी चढ़ाएं, माना जाता है कि, भगवान शिव को नागकेसर अति प्रिय होता है।
शिववास कैसे देखा जाता है ?
इसके अनुसार शिव वास जानने के लिए पहले तिथि पर ध्यान दें, शुक्ल पक्ष में पहली तिथि से पूर्णिमा तक की तिथि को 1 से 15 तक का मान दें और कृष्ण पक्ष में प्रतिपदा से अमावस्या तक को 16 से 30 मान दें। इसके बाद जिस तिथि के लिए शिव वास देखना है, उसमें दो से गुणा करें, फिर गुणनफल में 5 जोड़ दें और सबसे आखिर में 7 से भाग दे दें।
नोट:–यदि आपकी जन्म कुंडली में किसी प्रकार की कोई समस्या है तो, आप अपनी जन्म कुंडली हमें अवश्य दिखाएं और हमारे बताएं अनुसार उपाय कीजिए, निश्चित रूप से आपको लाभ होगा, जीवन में चल रही सभी प्रकार की परेशानियों से छुटकारा मिलेगा ।
✍️ज्यो:शैलेन्द्र सिंगला पलवल हरियाणा mo no/WhatsApp no9992776726
नारायण सेवा ज्योतिष संस्थान