*देवभूमि न्यूज 24.इन*
हार्वर्ड की डॉ. सारा वाकेमैन हाल ही में “The Diary of a CEO” पॉडकास्ट में शराब के बारे में कुछ चौंकाने वाले सच उजागर किए। उन्होंने बताया कि:
शराब आपके शरीर के लिए वास्तव में कितनी हानिकारक है
शराब की लत कैसे लगती है
और उससे हुए नुकसान से कैसे उबरा जा सकता है
यहाँ इस बातचीत से जुड़ी 8 सबसे अहम बातें साझा की गई हैं:
- “सुरक्षित” शराब की मात्रा बहुत कम है, जितना आप सोचते हैं उससे भी कम
अगर आप रोज़ एक ग्लास वाइन पीते हैं, तो आप पहले से ही “मॉडरेट रिस्क” ज़ोन में हैं।
एक ग्लास में लगभग 3 यूनिट अल्कोहल होती है, और “लो रिस्क” के लिए साप्ताहिक सीमा सिर्फ 14 यूनिट है।
अधिकतर लोग, जो रोज़ पीते हैं, अनजाने में इस सीमा को पार कर जाते हैं।
- हर साल 26 लाख लोग शराब से मरते हैं
यानी हर दिन करीब 7,000 मौतें सिर्फ शराब से जुड़ी बीमारियों से होती हैं।
दुनियाभर में 40 करोड़ लोग शराब की लत (Alcohol Use Disorder) से पीड़ित हैं।
हर तीन में से एक व्यक्ति को जीवन में कभी न कभी शराब से जुड़ी गंभीर समस्या हो सकती है।
- लत की जड़ “चरित्र की कमजोरी” नहीं, बल्कि “आघात” है
शराब की लत के जोखिम में 40-60% हिस्सा आनुवंशिक होता है, जैसे मधुमेह में होता है।
बाकी हिस्सा बचपन के आघात और जीवन के कष्टदायक अनुभवों से आता है।
डॉ. वाकेमैन कहती हैं:
“सच्चा गेटवे ड्रग गांजा नहीं, बल्कि ट्रॉमा है।”
- शराब पीने वाले का मस्तिष्क डिमेंशिया जैसा दिखता है
उन्होंने एक 43 वर्षीय व्यक्ति का ब्रेन स्कैन दिखाया, जो गंभीर शराब की लत से पीड़ित था।
उसका मस्तिष्क 90 साल के डिमेंशिया पीड़ित व्यक्ति जैसा दिख रहा था – सिकुड़ा हुआ और क्षतिग्रस्त।
यह नुकसान समय के साथ तेज़ी से बढ़ता है।
- शराब के “फायदे” दिखाने वाले पुराने शोध त्रुटिपूर्ण थे
कई अध्ययन जो दावा करते थे कि थोड़ी मात्रा में शराब फायदेमंद है – उनमें “नॉन-ड्रिंकर्स” समूह में वो लोग शामिल थे जिन्होंने पहले बीमारियों की वजह से शराब छोड़ी थी।
जब वैज्ञानिकों ने “कभी-कभी पीने वालों” को तुलना समूह बनाया, तो शराब के तथाकथित लाभ गायब हो गए।
- “हल्की” शराब भी कैंसर का खतरा बढ़ाती है
विशेषकर स्तन कैंसर के मामले में, कोई सुरक्षित मात्रा नहीं है।
यहाँ तक कि “लो-रिस्क” मात्रा में पीने से भी स्तन कैंसर का खतरा 5% बढ़ जाता है।
अगर आप रोज़ दो ग्लास पीते हैं, तो खतरा 40% तक बढ़ सकता है।
- आपका लिवर शराब को 30 गुना ज़्यादा ज़हरीले रसायन में बदल देता है
जब आप शराब पीते हैं, तो आपका लिवर एथेनॉल को एसिटाल्डीहाइड में बदलता है – जो 30 गुना ज़्यादा ज़हरीला होता है।
यह शरीर भर में सूजन और कोशिकीय नुकसान पैदा करता है।
हालाँकि लिवर खुद को पुनर्जीवित कर सकता है, लेकिन सिर्फ एक हद तक – इसके बाद स्थायी क्षति (Fibrosis/Scarring) हो जाती है।
- उपचार संभव है – लेकिन पूर्ण रूप से छोड़ना होगा
अगर कोई व्यक्ति 5 साल तक पूरी तरह शराब से दूर रहता है, तो उसका लत का जोखिम सामान्य व्यक्ति के बराबर हो जाता है।
मस्तिष्क खुद को अद्भुत तरीके से ठीक कर सकता है – नई न्यूरल पाथवेज बना सकता है।
लेकिन यह तभी मुमकिन है, जब आप शराब से पूरी तरह दूरी बना लें, सिर्फ कम करना काफी नहीं।
❗ कड़वी लेकिन ज़रूरी सच्चाई:
हमने एक ऐसे रसायन को सामान्य बना दिया है,
जो शरीर के हर अंग को नुकसान पहुँचाता है।
विज्ञान अब बिल्कुल स्पष्ट है –
शराब की कोई सुरक्षित मात्रा नहीं है।
🪷🪷शुभ वंदन 🪷🪷
ॐ सर्वे भवन्तु सुखिनः।
सर्वे सन्तु निरामयाः।
सर्वे भद्राणि पश्यन्तु।
मा कश्चित् दुःख भाग्भवेत्॥
ॐ शान्तिः शान्तिः शान्तिः॥
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