पाकिस्तान से मांगे: चीनी कम्पनियों ने 300 अरब रुपये
देवभूमि न्यूज डेस्क
देश/विदेश
पाकिस्तान से चीन की 25 कंपनियों ने मांगा 300 अरब रुपये बकाया भुगतान, बिजली उत्पादन बंद करने की चेतावनी
चीनी स्वतंत्र बिजली उत्पादकों (आईपीपी) के लगभग 25 प्रतिनिधियों ने अपने बकाया के बारे में शिकायत की और चेतावनी दी कि अग्रिम भुगतान नहीं मिलने पर वे कुछ दिनों के भीतर काम बंद कर देंगे।
पाकिस्तान में चीन-पाकिस्तान आर्थिक गलियारा (सीपीईसी) परियोजना के तहत काम कर रही चीन की करीब 25 कंपनियों ने 300 अरब डॉलर का भुगतान नहीं मिलने पर इस महीने अपना परिचालन बंद करने की चेतावनी दी है। ‘डॉन’ अखबार के अनुसार, पाकिस्तान के योजना और विकास मंत्री अहसान इकबाल की अध्यक्षता में आयोजित एक बैठक के दौरान चीन के स्वतंत्र बिजली उत्पादकों (आईपीपी) ने यह बात कही है।
लगभग 25 कंपनियों ने दी चेतावनी
इस दौरान, सीपीईसी परियोजना के तहत ऊर्जा, संचार, रेलवे जैसे क्षेत्रों में काम कर रही चीन की 30 कंपनियों भी मौजूद रहीं। बैठक के दौरान बिजली का उत्पादन करने वाली कंपनियों ने 300 अरब पाकिस्तान रुपये (15,95,920,800 डॉलर) का भुगतान नहीं मिलने को लेकर कड़ी नाराजगी जताई। चीन की स्वतंत्र बिजली उत्पादकों के लगभग 25 प्रतिनिधियों ने चेतावनी दी है कि अगर उनका भुगतान नहीं किया जाएगा, तो वे कुछ दिन के भीतर काम करना बंद कर देंगे।
भुगतान न होने पर परिचालन बंद करने की चेतावनी
सूत्रों ने डॉन को बताया कि चीनी अधिकारियों ने जटिल वीजा प्रक्रियाओं, कराधान आदि से संबंधित शिकायतें ज्यादा रखीं। पाकिस्तानी पक्ष की ओर से भी जवाबी शिकायतें रखी गईं, जिसमें खासतौर पर संचार में देरी का मुद्दा उठाया गया। चीनी स्वतंत्र बिजली उत्पादकों (आईपीपी) के लगभग 25 प्रतिनिधियों ने अपने बकाया के बारे में शिकायत की और चेतावनी दी कि अग्रिम भुगतान नहीं मिलने पर वे कुछ दिनों के भीतर काम बंद कर देंगे। उन्होंने कहा कि अधिकारी गर्मी के मौसम में बढ़ती जरूरतों को पूरा करने के लिए उत्पादन को अधिकतम करने के लिए दबाव डाल रहे हैं, लेकिन हमारे लिए यह असंभव है।
उन्होंने शिकायत की कि ईंधन की कीमतें, विशेष रूप से कोयले की कीमतों में तीन से चार गुना वृद्धि हुई है, जिसका अर्थ है कि उन्हें ईंधन की व्यवस्था करने के लिए तीन से चार गुना अधिक पैसा दिया जाना चाहिए। कोयला उत्पादकों में से एक ने बताया कि कोयले के कम स्टॉक के कारण यह आधी क्षमता पर काम कर रहा है, लेकिन उत्पादन बढ़ाने के लिए अधिकारियों के दबाव से कुछ दिनों में ईंधन का स्टॉक समाप्त हो सकता है।
सरकार ने दिया भुगतान का भरोसा
उनमें से कुछ ने कहा कि पहले आपूर्ति की गई बिजली का भुगतान नहीं हुआ और कोविड -19 महामारी के कारण आर्थिक दिक्कतें भी ज्यादा थीं। अधिकारियों ने उन पर उच्च दरों पर टैक्स भी लगाना शुरू कर दिया था। इसके अलावा पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान की चीन यात्रा के दौरान पिछली सरकार द्वारा आईपीपी के बकाए भुगतान का वादा भी पूरा नहीं हुआ। इकबाल ने चीनियों को आश्वासन दिया कि प्रधानमंत्री ने पहले ही स्थिति पर ध्यान दिया है और संबंधित अधिकारियों से उन्हें पूरे मुद्दे के बारे में जानकारी देने और शीघ्र भुगतान की व्यवस्था करने के लिए कहा है। उन्होंने वादा किया कि इसी महीने उनकी वित्तीय समस्या को दूर कर दिया जाएगा।